भोपाल पुलिस ने ट्रांसफर आदेश की अनदेखी पर DCP ने 8 पुलिसकर्मियों को किया सस्पेंड

भोपाल पुलिस ने ट्रांसफर आदेश की अनदेखी पर DCP ने 8 पुलिसकर्मियों को किया सस्पेंड

Bhopal Police Suspension | मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में पुलिस विभाग ने अनुशासनहीनता के खिलाफ सख्त कदम उठाते हुए 8 पुलिसकर्मियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। इन पुलिसकर्मियों पर ट्रांसफर आदेशों का पालन न करने और नई पदस्थापना स्थल पर रिपोर्ट न करने का आरोप है। यह कार्रवाई पुलिस उपायुक्त (DCP) श्रद्धा तिवारी ने की है, जिन्होंने अनुशासन बनाए रखने के लिए कठोर रुख अपनाया। निलंबित पुलिसकर्मियों में एक सब इंस्पेक्टर, एक सहायक उप-निरीक्षक, दो कांस्टेबल, और चार हेड कांस्टेबल शामिल हैं। इस कार्रवाई ने भोपाल पुलिस विभाग में हलचल मचा दी है। आइए, विस्तार से जानते हैं इस निलंबन के कारण, निलंबित पुलिसकर्मियों के नाम, और इस कार्रवाई के पीछे की पूरी कहानी। Bhopal Police Suspension

मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में पुलिस विभाग ने अनुशासनहीनता के खिलाफ सख्त रवैया अपनाते हुए 8 पुलिसकर्मियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। यह कार्रवाई 8 जुलाई 2025 को पुलिस उपायुक्त (DCP) श्रद्धा तिवारी द्वारा की गई, जिन्होंने ट्रांसफर आदेशों की अवहेलना करने वाले पुलिसकर्मियों पर नकेल कसी। निलंबित पुलिसकर्मियों में एक सब इंस्पेक्टर, एक सहायक उप-निरीक्षक (ASI), दो कांस्टेबल, और चार हेड कांस्टेबल शामिल हैं। यह कार्रवाई पुलिस विभाग में अनुशासन और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए की गई है, जो हाल ही में हुए व्यापक स्थानांतरण के बाद सामने आई शिकायतों के आधार पर हुई। Bhopal Police Suspension


निलंबन का कारण

पुलिस विभाग ने जून 2025 में भोपाल के विभिन्न पुलिस थानों में व्यापक स्तर पर स्थानांतरण आदेश जारी किए थे। इन आदेशों के तहत कई पुलिसकर्मियों को नए थानों या स्थानों पर रिपोर्ट करने के लिए कहा गया था। हालांकि, कुछ पुलिसकर्मियों ने इन आदेशों का पालन नहीं किया और अपनी पुरानी पोस्ट पर ही बने रहे, जिसे पुलिस विभाग ने अनुशासनहीनता माना। DCP श्रद्धा तिवारी ने इन शिकायतों की जांच के लिए एक विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी, जिसमें पता चला कि आठ पुलिसकर्मियों ने जानबूझकर ट्रांसफर आदेशों की अनदेखी की और नई पोस्ट पर अपनी उपस्थिति दर्ज नहीं की।

भोपाल पुलिस आयुक्त हरिनारायण चारी मिश्र ने बताया कि इन पुलिसकर्मियों को कई बार रिमाइंडर भेजे गए थे, लेकिन उनके द्वारा कोई जवाब नहीं दिया गया। इस अनुशासनहीनता को गंभीरता से लेते हुए तत्काल प्रभाव से निलंबन की कार्रवाई की गई। यह कदम पुलिस विभाग में अनुशासन बनाए रखने और स्थानांतरण नीतियों का सख्ती से पालन सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है।


निलंबित पुलिसकर्मियों के नाम और पद

निलंबित किए गए आठ पुलिसकर्मियों की सूची और उनके पद निम्नलिखित हैं:

  1. उप निरीक्षक (SI): साबिर खान – थाना टीला जमालपुरा

  2. सहायक उप-निरीक्षक (ASI): रामअवतार – रक्षित केंद्र

  3. प्रधान आरक्षक (हेड कांस्टेबल) क्रमांक 1906: नरेश कुमार शर्मा – थाना श्यामला हिल्स

  4. प्रधान आरक्षक (हेड कांस्टेबल) क्रमांक 1851: मनोहरलाल – थाना बागसेवनिया

  5. प्रधान आरक्षक (हेड कांस्टेबल) क्रमांक 2091: चंद्रमौल मिश्रा – थाना कमलानगर

  6. प्रधान आरक्षक (हेड कांस्टेबल): (चौथा हेड कांस्टेबल, नाम उपलब्ध नहीं)

  7. आरक्षक (कांस्टेबल) क्रमांक 1517: वीरेंद्र यादव – थाना हनुमानगंज

  8. आरक्षक (कांस्टेबल) क्रमांक 4682: कपिल चंद्रवंशी – थाना हनुमानगंज

नोट: चौथे हेड कांस्टेबल का नाम उपलब्ध नहीं है, क्योंकि कुछ स्रोतों में केवल सात पुलिसकर्मियों के नाम ही उल्लेखित हैं।


कार्रवाई की पृष्ठभूमि

भोपाल पुलिस विभाग में हाल ही में हुए स्थानांतरण पुलिस महानिदेशक (DGP) के निर्देशों के तहत किए गए थे। इन स्थानांतरणों का उद्देश्य पुलिस थानों की कार्यप्रणाली को बेहतर करना और प्रशासनिक दक्षता बढ़ाना था। हालांकि, कुछ पुलिसकर्मियों ने कथित तौर पर अपने प्रभाव या कनेक्शनों का उपयोग करके पुराने थानों पर बने रहने की कोशिश की। DCP श्रद्धा तिवारी ने इन शिकायतों को गंभीरता से लिया और स्थानांतरण आदेशों के कार्यान्वयन की जांच की। जांच में पाया गया कि ये आठ पुलिसकर्मी न केवल आदेशों की अवहेलना कर रहे थे, बल्कि उन्होंने रिमाइंडर के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की।

इस कार्रवाई को भोपाल पुलिस विभाग में अनुशासन और जवाबदेही को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। यह संदेश देता है कि नियमों की अनदेखी करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी, चाहे उनका पद कुछ भी हो।


निलंबन का प्रभाव

निलंबन के बाद, इन पुलिसकर्मियों को निम्नलिखित प्रभावों का सामना करना पड़ेगा:

  1. वेतन में कटौती: निलंबन के पहले तीन महीनों के लिए उन्हें 50% वेतन मिलेगा, और उसके बाद 75% तक वेतन मिल सकता है, जब तक कि उनकी बहाली नहीं होती।

  2. वर्दी पर प्रतिबंध: निलंबित पुलिसकर्मी वर्दी पहनने के लिए अधिकृत नहीं होंगे।

  3. रिपोर्टिंग: उन्हें नियमित रूप से पुलिस लाइन में उपस्थिति दर्ज करानी होगी।

  4. विभागीय जांच: निलंबन के साथ-साथ उनके खिलाफ विभागीय जांच शुरू की जाएगी, जिसमें उनकी अनुशासनहीनता की गहराई से जांच होगी।

यह कार्रवाई भोपाल पुलिस विभाग में एक उदाहरण स्थापित करती है कि नियमों का उल्लंघन बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।


भोपाल पुलिस में अनुशासन की स्थिति

यह पहली बार नहीं है जब भोपाल पुलिस ने अनुशासनहीनता के लिए सख्त कार्रवाई की है। उदाहरण के लिए:

  • मार्च 2025 में: एक ही थाने के 8 पुलिसकर्मियों को साइबर अपराधियों के साथ सांठगांठ के आरोप में निलंबित किया गया था। इनमें से एक ASI, पवन रघुवंशी, के घर से 5 लाख रुपये और साइबर ठगी में इस्तेमाल हुआ लैपटॉप बरामद किया गया था।

  • नवंबर 2024 में: चार पुलिसकर्मियों को शिवपुरी जिले में एक सड़क दुर्घटना के बाद मृतक के परिजनों के साथ मारपीट के आरोप में निलंबित किया गया था। इस घटना ने व्यापक जनआक्रोश पैदा किया था।

ये घटनाएं दर्शाती हैं कि भोपाल पुलिस विभाग अनुशासन और पारदर्शिता को लेकर गंभीर है। DCP श्रद्धा तिवारी की यह कार्रवाई इस दिशा में एक और कदम है।


निलंबन से सबक और भविष्य

DCP श्रद्धा तिवारी की इस कार्रवाई ने पुलिसकर्मियों को स्पष्ट संदेश दिया है कि ट्रांसफर आदेशों का पालन करना अनिवार्य है। भोपाल पुलिस आयुक्त हरिनारायण चारी मिश्र ने कहा, “पुलिस विभाग में अनुशासन सर्वोपरि है। ट्रांसफर आदेशों की अनदेखी न केवल व्यक्तिगत अनुशासनहीनता है, बल्कि यह विभाग की कार्यप्रणाली को भी प्रभावित करता है।”

पुलिसकर्मियों के लिए यह एक चेतावनी है कि वे अपने कर्तव्यों का पालन करें और विभागीय आदेशों का सम्मान करें। साथ ही, यह कार्रवाई आम जनता के बीच पुलिस विभाग की जवाबदेही और पारदर्शिता को बढ़ाने में भी मदद करेगी। Bhopal Police Suspension


भोपाल पुलिस विभाग द्वारा 8 पुलिसकर्मियों का निलंबन अनुशासन और जवाबदेही को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। DCP श्रद्धा तिवारी की इस सख्त कार्रवाई ने यह स्पष्ट कर दिया है कि ट्रांसफरआदेशों की अनदेखी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। निलंबित पुलिसकर्मियों में शामिल साबिर खान (SI), रामअवतार (ASI), और अन्य के खिलाफ विभागीय जांच शुरू होगी, जो इस मामले में और स्पष्टतालाएगी। यह कार्रवाईपुलिस विभाग में सुधार और अनुशासन को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। Bhopal Police Suspension


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