मध्यप्रदेश में रिकॉर्डतोड़ मानसूनी बारिश: 19 राज्यों में Heavy rain का अलर्ट, अगले तीन दिन और संकट
मध्यप्रदेश समेत उत्तर पश्चिम, पूर्व, पूर्वोत्तर और मध्य भारत के विभिन्न राज्यों में मूसलाधार बारिश का सिलसिला जारी है। [Heavy rain] से प्रभावित राज्यों में राजस्थान, छत्तीसगढ़, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश प्रमुख हैं। मध्यप्रदेश में इस बार मानसून ने रिकॉर्डतोड़ बारिश की है। राज्य के कई जिलों में नदियों और जलाशयों में उफान देखा गया है। मौसम विभाग के अनुसार अगले तीन दिन भी मौसम की मार से राहत मिलने की संभावना कम है। विभाग ने हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड समेत 19 राज्यों में भारी से बहुत भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है।
मध्यप्रदेश में भारी बारिश से बाढ़ जैसे हालात
मध्यप्रदेश के कई जिलों में पिछले 24 घंटे के दौरान भारी बारिश दर्ज की गई है। खासकर ग्वालियर में मानसून ने अपने पिछले कई रिकॉर्ड तोड़ दिए। यहाँ [8 inches of rain] दर्ज की गई है। अब तक ग्वालियर में 40 इंच से ज्यादा बारिश हो चुकी है, जो सामान्य से काफी अधिक है। शिवपुरी में 4 इंच और नौगांव में सवा 4 इंच बारिश दर्ज की गई है। भोपाल में करीब ढाई इंच पानी गिरा है, जिससे शहर के कई इलाकों में जलभराव हो गया है।
मध्यप्रदेश के बांध और जलाशयों में भी भारी पानी भरा हुआ है। प्रदेश के 28 जिलों में तेज बारिश के चलते नदियों में उफान आ गया है। सिवनी, बालाघाट, सागर, छतरपुर, और शिवपुरी जिलों में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। प्रदेश में इस मानसून सीजन में अब तक कोटे से [4.9 inches] ज्यादा पानी गिर चुका है।
मध्यप्रदेश में मानसूनी सिस्टम की वजह से बारिश
मौसम विभाग के मुताबिक मध्यप्रदेश में इस बार तीन प्रमुख सिस्टम— [Monsoon trough], [Cyclonic circulation], और [Low-pressure area] की वजह से बारिश हो रही है। इन सिस्टमों के कारण प्रदेश में सामान्य से अधिक बारिश हुई है। प्रदेश में अब तक [39.1 inches] बारिश हो चुकी है, जबकि औसत बारिश का आंकड़ा 37.3 इंच है।
मंडला जिला इस बार सबसे अधिक बारिश वाला जिला है, जहाँ [54.64 inches] बारिश दर्ज की गई है। सिवनी जिला दूसरे स्थान पर है, जहाँ 53 इंच बारिश हो चुकी है। भोपाल, सागर, श्योपुर और छिंदवाड़ा में 47 इंच और डिंडोरी, रायसेन, और नर्मदापुरम में 46 इंच से अधिक बारिश हुई है।
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छत्तीसगढ़ और राजस्थान के बाढ़ से प्रभावित इलाके
मध्यप्रदेश के साथ-साथ छत्तीसगढ़ में भी मूसलाधार बारिश से हालात गंभीर बने हुए हैं। दुर्ग जिले में शिवनाथ नदी का जलस्तर बढ़ने से बाढ़ के हालात पैदा हो गए हैं। राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) ने बाढ़ में फंसे 50 से अधिक लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला है। इसके अलावा राज्य के सुकमा जिले में पिछले दिनों नदियों के उफान के कारण 500 से अधिक गांवों में जलभराव हो गया था।
राजस्थान में भी बारिश से हालात खराब हो गए हैं। अजमेर के अना सागर एस्कैप नगर के गेट खोलने पड़े हैं, जिससे हाथी भाटा, ब्रह्मपुरी और शिवपुरी इलाकों में जलभराव की स्थिति उत्पन्न हो गई है।
उत्तर भारत में अलर्ट जारी
मौसम विभाग ने हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश समेत कई राज्यों में भारी से बहुत भारी बारिश का [alert] जारी किया है। उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों में भारी बारिश की संभावना है। देहरादून, हरिद्वार, पौड़ी, बागेश्वर, नैनीताल, चंपावत और ऊधमसिंहनगर में बिजली चमकने के साथ भारी बारिश का रेड अलर्ट जारी किया गया है। उत्तरकाशी, टिहरी, चमोली, रुद्रप्रयाग, अल्मोड़ा और पिथौरागढ़ में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है।
दिल्ली-एनसीआर में भी जारी है बारिश का दौर
दिल्ली-एनसीआर में भी रुक-रुककर बारिश हो रही है। सितंबर माह के पहले 10 दिनों में लगातार बारिश से दिल्ली में तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। अधिकतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम [32.6°C] और न्यूनतम तापमान तीन डिग्री कम [23°C] दर्ज किया गया है। मौसम विभाग ने अगले दो दिन दिल्ली में भी अच्छी बारिश की संभावना जताई है। 12 सितंबर को दिल्ली में ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है, जिसमें कुछ इलाकों में तेज बारिश और [30-40 km/h] की रफ्तार से हवा चलने की संभावना है।
आगे भी जारी रहेगा बारिश का दौर
मौसम विभाग के अनुसार, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, और मध्य प्रदेश में अगले तीन दिनों तक भारी बारिश की संभावना बनी हुई है। इसके अलावा राजस्थान, हरियाणा, चंडीगढ़ और हिमाचल प्रदेश के विभिन्न इलाकों में 15 सितंबर तक जमकर बारिश हो सकती है। 15 से 17 सितंबर तक छत्तीसगढ़, मध्य महाराष्ट्र, असम, और मेघालय में भारी बारिश की संभावना है। इसके अलावा नगालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा, पश्चिम बंगाल, झारखंड, बिहार और ओडिशा में भी 15 सितंबर तक भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना जताई गई है।
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