कलेक्टर और एसपी ने देवी महालया और महामाया को लगाया भोग, नगर पूजा का शुभारंभ

कलेक्टर और एसपी ने देवी महालया और महामाया को लगाया भोग, नगर पूजा का शुभारंभ

Ujjain News | उज्जैन। आज मंगलवार को नवरात्रि की महाष्टमी पर सुबह गुदरी स्थित चौबीस खंभा माता मंदिर से परंपरागत नगर पूजा की शुरआत कलेक्टर और एसपी ने देवी को मदिरा का भोग लगाकर तथा पूजन सामग्री अर्पित कर की। पूजन के उपरांत कलेक्टर और एसपी यात्रा के आगे मदिरा से भरी हांडी लेकर कुछ दूर चले। यह यात्रा आज देर शाम तक चलेगी और शहर के विभिन्न 40 से अधिक देवी और भैरव मंदिरों में जाकर पूजन अर्चन किया जाएगा। शाम को इसका समापन अंकपात स्थित हांडी फोड़ भैरव मंदिर पर होगा।

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आज सुबह शारदीय नवरात्रि की महाअष्टमी पर नगर की शांति व सुख समृद्धि की कामना के लिए जिला प्रशासन द्वारा वर्षों पुरानी परंपरा को निभाते हुए नगर पूजा की शुरुआत की गई। नगर पूजा में सर्वप्रथम 24 खंबा मंदिर में विराजमान देवी महालया और महामाया का कलेक्टर रोशन कुमार सिंह और एसपी प्रदीप शर्मा ने विधिपूर्वक पूजन अर्चन किया। इस दौरान उन्होंने माता को बड़बाकल के रूप में भजिए, पूड़ी व भीगे चने के प्रसाद के साथ चुनरी, सुहाग सामग्री अर्पित की फिर मदिरा की धार का भोग अर्पित कर पूजा की शुरुआत की। ऐसी मान्यता है कि नगर पूजा से नगर के सभी रक्षक देवी देवता प्रसन्न होते हैं और अतृप्तों को तृप्ति मिलती है। जिससे वे प्रसन्न होकर नगर की शांति एवं सुख समृद्धि का आशीर्वाद देते हैं। इसी मान्यता व परंपरा के पालन में कलेक्टर द्वारा मंगलवार को महा अष्टमी के अवसर पर सुबह चौबीस खंबा स्थित देवी महालया और महामाया की पूजा अर्चना के बाद कलेक्टर और एसपी कुछ दूर मदिरा से भरी हांडी लेकर चले। इसके बाद शासकीय अधिकारियों, कर्मचारियों व कोटवारों का दल नगर पूजा के लिए रवाना हुआ। इस दल में सबसे आगे ढोल और धर्म ध्वजा नजर आ रही थी। इसके पीछे तांबे के पात्र में मदिरा लिए कोटवार और बांस के टोकरों में बड़बाकल के रूप में भजिए, पूड़ी व भीगे चने आदि की प्रसाद व सुहाग सामग्री लिए कर्मचारी शामिल थे। दल द्वारा प्राचीन नगर की 27 किमी लंबी परिक्रमा में स्थित 40 से अधिक देवी और भैरव मंदिर में पूजा अर्चना कर बड़बाकाल का भोग अर्पित किया जाएगा। इसके साथ ही तांबे के पात्र में भरी मदिरा की सतत धार से पूरे मार्ग पर मदिरा अर्पित कर नगर पूजन का यह क्रम देर शाम तक चलेगा। नगर पूजा का समापन रात लगभग 9 बजे अंकपात स्थित हांडी फोड़ भैरव में पूजा अर्चना के साथ होगा। पौराणिक मान्यता है कि शारदीय नवरात्र की महाअष्टमी पर नगर पूजा की परंपरा सम्राट विक्रमादित्य द्वारा अपने रा’य व नगर में खुशहाली व सुख समृद्धि के लिए महाअष्टमी पर नगर पूजा की शुरूआत की थी। सम्राट विक्रमादित्य के काल से लेकर अब तक यह परंपरा चली आ रही है। वर्तमान में नगर पूजा में होने वाले खर्च का वहन जिला प्रशासन द्वारा किया जाता है।

पूजन के दौरान लोगों की भीड़…

चौबीस खंबा मंदिर स्थित देवी महालया और महामाया को महाष्टमी पर कलेक्टर द्वारा मदिरा अर्पित करने के दौरान बड़ी संख्या में शहर के नागरिक भी मौजूद रहे। यहां बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया।

घरों में हो रहा पूजन….

नवरात्रि की सप्तमी तिथि से ही कुल देवियों के पूजन का क्रम आरंभ हो गया था। एक दिन पहले सोमवार को सप्तमी का घरों में पूजन हुआ और आज मंगलवार सुबह से महाष्टमी पर घरों में भी कुल देवी का पूजन आरंभ हो गया था। कल नवमी है और इस दिन भी लोग देवी के नौवें स्वरूप का पूजन करेंगे।

दोपहर में हरसिद्धि देवी का पूजन,
रात्रि में गढक़ालिका माता का होगा पूजन…

शासकीय नगर पूजा के अंतर्गत महाष्टमी की दोपहर 12 बजे के लगभग हरसिद्धि माता मंदिर में कलेक्टर और नगर पूजा दल द्वारा शासकीय पूजन किया गया। यहां देवी माँ को सात्विक भोग लगाकर सुहाग सामग्री अर्पित की गई। वहीं आज रात 12 बजे गढक़ालिका मंदिर में देवी की महाआरती कर प्रसाद का वितरण किया गया।


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